वैसे तो पंकज उदास जी कि सभी गज़ले एक से बढ़कर एक हैं और दिल को बहुत ही आसानी से छू जाती हैं | पंकज उदास ने बॉलीवुड में भी बहुत सी गज़ले गयीं हैं जो आज भी सदाबहार है | यह कुछ ऐसी गज़ले हैं जिन्हे सुनकर आप उस समय में चले जातें हैं जब पंकज जी ने इसे पहली बार गया था और आप केवल उन ग़ज़लों को महसूस करते हैं | पंकज उदास अपनी \"ग़ज़ल चिट्ठी आयी है\" से अत्यधिक लोकप्रिय हुए थे क्योंकि इस ग़ज़ल में जो रूहानियत थी वो अलग ही थी | एक समय वह था जब हर घर से इस ग़ज़ल कि आवाज़ें आती थी \"चिट्ठी आयी है आयी है, चिट्ठी आयी है \", और लोग अपने बिछड़े साथियो को याद किया करते थे | यहां ऐसी ही कुछ और ग़ज़ल दी गयी हैं जो पंकज जी कि आवाज़ से सीधा आपके दिल में उतरती हैं |
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मैं नशे में हूँ
यह वह ग़ज़ल है जिमे प्रेम और वियोग दोनों के मिश्रण को पंकज जी ने बहुत ख़ूबसूरती से प्रस्तुत किया है | यह ग़ज़ल पंकज जी कि सबसे ज्यादा खूबसूरत ग़ज़लों में से एक है |
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निकलो न बेनक़ाब
मोहब्बत से रूबरू करती यह ग़ज़ल जिसमे प्रेम रंग इतनी ख़ूबसूरती से उड़ाया गया है जिसमे आप रंगते चले जाते हैं और इस गीत कि गहराइयों में उतरते चले जाते हैं |
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और आहिस्ता कीजिये बातें
पहले पहले प्यार का एहसास दिलाती यह ग़ज़ल अपने समय में युवाओ की पहली पसंद होती थी, और यकीनन आज भी आप इसे सुनेगे तो शायद आपका भी मन इस ग़ज़ल पर आकर थम जायगा |
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दिल धड़कने का सबब याद आया
दिल धड़कने का सबब याद आया
वो तेरी याद थी अब याद आया
आज मुश्किल था सऽम्भलना ऐ दोस्त
तू मुसीबत में अजब याद आया |
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के घुंगरू टूट गए
ख़ूबसूरती और अंदाज़ इस ग़ज़ल के हर एक शब्द में है | यह गीत एक नायिका को प्रदर्शित करके गाय गया है जिसे आप सिर्फ सुनते नहीं है बल्कि साथ गाने पर मज़बूर भी हो जाते हैं |
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